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Know Indian Festivals / Tyohar in Hindi, भारतिय त्योहारों की संपूर्ण जानकारी हिंदी में
करवा चौथ व्रत:- कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की चंद्रोदय व्यापिनी चतुर्थी के दिन करवा चौथ का व्रत किया जाता है। पति के स्वस्थ रहने, दीर्घायु होने एवं अखंड सौभाग्य की प्राप्ति के लिए इस दिन चंद्रमा की पूजा-अर्चना की जाती है। करवा चौथ व्रत को ‘कर्क चतुर्दशी’ के नाम से भी जाना जाता है।…
क्या आपकी जिंदगी में हाल ही में नन्हा मेहमान आया है? अगर आप नई-नई मां बनी है तो आपको करवाचौथ व्रत में खुद का खास खयाल रखना होगा। चूंकि, अब आपका बेबी भी आप पर निर्भर करता है तो आप खुद की सेहत के साथ लापरवाही बिल्कुल नहीं कर सकतीं। आखिर, करवाचौथ का मतलब एक…
करवाचौथ का व्रत निर्जला होता है यानी आपको पूरे दिन न कुछ खाना होता है और न कुछ पीना होता है तो कई महिलाएं इसके बाद बीमार हो जाती है। ऐसे में व्रत को पूरी आस्था से करने के बाद आपकी ऊर्जा में कमी न हो और न ही आप बीमार पड़ें, इसके लिए कुछ…
मंगला गौरी सावन माह के प्रत्येक मंगलवार को किया जाता है। यह व्रत सौभाग्यवती स्त्रियों के लिए अखण्ड सौभाग्य का वरदान होता है। इस व्रत को करने से विवाहित स्त्रियों को सुख-सौभाग्य की प्राप्ति होती है। देवी गौरी का यह व्रत मंगला गौरी के नाम से विख्यात है। जिस प्रकार माता पार्वती ने शिवजी को…
जिसका भी जन्म हुआ है उसकी मृत्यु अवश्य ही होगी। जन्म और मृत्यु के बीच जो भी महत्वपूर्ण घटनाएं घटती है वह है जीवन कहलाती है। अधिकांश लोग जान ही नहीं पाते कि जीवन को जीवन कैसेट बनाया जाए? ऐसे लोग जन्म और मृत्यु को ही जीवन का हिस्सा समझ लेते हैं। जीते तो पशु…
प्रदोष व्रत करने के लिए उपासक को त्रयोदशी (हिंदू पंचांग की तेरहवीं तिथि को त्रयोदशी कहते हैं) के दिन प्रात: सूर्योदय से पूर्व उठना चाहिए। नित्यकर्मों से निवृत्त हाेकर, भगवान श्री भोलेनाथ का स्मरण करें। इस व्रत में आहार नहीं लिया जाता है। पूरे दिन उपवास रखने के बाद सूर्यास्त से एक घंटा पहले, स्नान…
होली के त्योहार में आपको किसी तरह का कोई नुकसान न हो इसलिए ध्यान रहे ये बातें। होली ऐसे खेलें कि बनी रहे त्वचा की रंगत! होली पर मार्केट में बिकने वाले रंगों में कैमिकल की मात्रा इतनी अधिक होती है कि बच्चों से लेकर बड़ों तक, सभी को कोई न कोई समस्या हो सकती…
होलिका पर्व प्रदोष व्यापिनी फाल्गुन पूर्णिमा के दिन भद्रारहित काल में होलिका दहन किया जाता है। दहन से पूर्व और भद्रा समय के बाद होली पूजन किया जाना चाहिए। भद्रा के मुख का त्याग करके निशा मुख में होली पूजन फलदायक होता है। दहन के बाद होलिका में जिन वस्तुओं की आहुति दी जाती है,…