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जिंदगी में हर एक इंसान सफल व पैसा वाला होने का सपना देखता है, पर कुछ ही ऐसे वो लोग होते है जो अपने ख्वाबों को पूरा कर पाते है। भारत के सबसे अमीर व्यक्ति मुकेश अंबानी भी ऐसे ही लोगों में शामिल हैं। मुकेश अंबानी ने पिता से मिली विरासत को अपनी मेहनत व
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रतन टाटा टाटा समूह जो की भारत का सबसे बड़ा व्यापारिक समूह है के अध्यक्ष हैं। इन का जन्म 28 दिसंबर 1937, को मुम्बई में हुआ था। टाटा समूह की स्थापना जमशेदजी टाटा ने की थी और उनके परिवार की पीढ़ियों ने इसका विस्तार किया। टाटा समूह की उन्नति में रतन टाटा का महत्वपूर्ण योगदान
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ये जरुरी बात नहीं है कि जो लोग आपके सामने आपके बारे में अच्छा बोलते है, वह आपके पीछे भी आपके बारे में यही राय रखते हों। आप की कीमत तब तक है, जब तक आप के पास ऐसा कुछ है, जो पैसे से ख़रीदा ना जा सके। आप अपना भविष्य नहीं बदल सकते, पर
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कोई भी काम शुरू करने के पहले तीन सवाल अपने आपसे पूछो, 1. मैं ऐसा क्यों करने जा रहा हूँ ? 2. इसका क्या परिणाम होगा ? 3. क्या मैं सफल रहूँगा ? ऐसे व्यक्ति जो आपके स्तर से ऊपर या नीचे के हैं, उन्हें दोस्त न बनाओ, वह तुम्हारे कष्ट का कारण बनेगे! सामान
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माँ बाप को एक गिलास पानी भी नहीं दे सकते, और नेताओं को देखते ही वेटर बन जाते हो…!! बाप के मरने पर सिर मुंडवाने में हिचकते हो, और ‘गजनी’ लुक के लिए हर महीने गंजे हो सकते हो…!! गरीब को एक रुपया दान नहीं कर सकते, और वेटर को टीप देने में गर्व महसूस
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बिल गेट्स का पूरा नाम विलियम हेनरी गेट्स है, इन का जन्म 28 अक्टूबर 1955 को अमेरिका में हुआ। बिल गेट्स ने अपने बचपन के दोस्त पॉल एलन (Paul Allen) के साथ मिलकर माइक्रोसॉफ्ट की स्थापना की जो फिर आगे चलकर दुनिया की सबसे बड़ी कंप्यूटर सॉफ्टवेर कंपनी बनी और बिल गेट्स बने दुनिया के
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चाणक्य के जीवन का परिचय Chanakya Life Introduction:- आचार्य चाणक्य का जन्म लगभग 2400 साल पूर्व हुआ था, आचार्य चाणक्य नालंदा विशवविधालय के महान आचार्य थे, उन्होंने हमें ‘चाणक्य-नीति’ जैसा ग्रन्थ दिया जो आज भी उतना ही प्रामाणिक है जितना उस काल में था। चाणक्य नीति एक 17 अध्यायों का ग्रन्थ है, आचार्य चाणक्य ने
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स्वामी विवेकानन्द वेदान्त के विख्यात और प्रभावशाली आध्यात्मिक गुरु थे। उनका वास्तविक नाम नरेन्द्र नाथ दत्त था। भारत का आध्यात्मिकता से परिपूर्ण वेदान्त दर्शन अमेरिका और यूरोप के हर एक देश में स्वामी विवेकानन्द की वक्तृता के कारण ही पहुँचा। उन्होंने अमेरिका स्थित शिकागो में सन् 1893 में आयोजित विश्व धर्म महासभा में भारत की
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